kaikeyi Ka Anutap – कैकैयी का अनुताप
अबला जीवन हाय तुम्हारी यही कहानी । आंचल में है दूध और आंखों में पानी । मैथिलीशरण गुप्त का जीवन-परिचय :– उपर्युक्त दो पंक्तियां हिंदी काव्य की अमर निधि हैं- यह पंक्ति राष्ट्र कवि मैथिली शरण गुप्त द्वारा रचित है। Kaikeyi Ka Anutap के रचयिता मैथिलीशरण गुप्त का जन्म … Read more